"इम्तिहान दोस्ती का क्यों ले रहे मुझसे,
फेल हुए तो क्या दिल से निकाल दोगे"
"मैं गिर गया था उस दिन ये सोचते हुए,
तुम साथ हो मेरे यक़ीनन सम्भाल लोगे..!
Dosti
By : Dr. Adil Husain
Dosti Shayari
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19th Jul 2020
"इम्तिहान दोस्ती का क्यों ले रहे मुझसे,
फेल हुए तो क्या दिल से निकाल दोगे"
"मैं गिर गया था उस दिन ये सोचते हुए,
तुम साथ हो मेरे यक़ीनन सम्भाल लोगे..!
हम अपने खालीपन को कुछ इस तरह भरते है
जब भी याद आए तुम्हारी,
तो एक कप चाय लेकर,
चाँद से बातें करते हैं..!
Matlab yeh ke bhuli nhi hu,
Yeh bhi nhi ke yaad aate ho,
Pehle sab se phle Tum they,
Ab Tum sab ke baad aate ho...
ख्वाहिशे मर गईं हमारी, ख्वाब भी दफ़न हो गए,
ज़िन्दगी जीना चाहा था हमने,
मोहब्बत की राहा में क्या चले,
जिन्द रहना ही भुल गए..!
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